सस्पेंस और थ्रिलर के शौकीन जरूर देखें 'आलिया बसु गायब है', दिल को छू लेने वाली कहानी
मुंबई, 9 अगस्त । विनय पाठक और राइमा सेन स्टारर साइकोलॉजिकल थ्रिलर आलिया बसु गायब है थिएटर में रिलीज हो गई है। फिल्म को प्रीति सिंह ने डायरेक्ट किया है और डॉ. सत्तार दीवान और जोनू राणा ने प्रोड्यूस किया है। कहानी न सिर्फ मनोरंजक है, बल्कि यह आपको सोचने पर भी मजबूर करती है। यह आपके दिमाग में कई सवाल उठाती है। आलिया बसु गायब है की कहानी दो पूर्व अपराधी दीपक और विक्रम के इर्द-गिर्द पर घूमती है, जो फिरौती और बदला लेने के लिए एक उद्योगपति गौतम बसु की बेटी आलिया का अपहरण करते हैं, लेकिन दीपक के छिपे हुए इरादों से उसका दोस्त विक्रम बिल्कुल अनजान है। दोनों आलिया के पिता से 5 करोड़ रुपए की फिरौती मांगते हैं। वहीं आलिया अपहरण करने वालों से खुद को छुड़ाने के लिए बहुत संघर्ष करती है। अपहरणकर्ताओं की मांग पूरी होती है या फिर आलिया उन्हें चकमा देने में कामयाब होती है, यह फिल्म देखने पर ही पता चलेगा। फिल्म की शुरुआत में आठ मिनट तक कोई आवाज नहीं है, विजुअल और इमोशनल साइन के जरिए रोमांचक माहौल बनाया गया है। यह एक अनोखा और प्रभावी तरीका है जो दर्शकों को फिल्म से जुड़ने के लिए मजबूर करता है। निर्देशक प्रीति सिंह ने जानबूझकर फिल्म की शुरुआत में कोई डायलॉग न रखने का फैसला किया। वह जानती हैं कि उनकी कहानी दर्शकों को आकर्षित करने में सक्षम है। विनय पाठक ने विक्रम का किरदार शानदार तरीके से निभाया है। वहीं राइमा सेन ने आलिया के रोल के लिए अपनी पूरी जान झोंक दी है। उन्होंने आलिया की भावनात्मक परेशानी और बचने के लिए किए गए प्रयासों को बहुत अच्छी तरह से दिखाया है। फिल्म में सलीम दीवान, दीपक के किरदार में वाकई दिलचस्प दिख रहे हैं। उन्होंने एक ऐसे आदमी का किरदार निभाया है जो अपने आपराधिक विचारों और अंदरूनी संघर्ष के बीच फंसा हुआ है। उनका परफॉर्मेंस बहुत प्रभावशाली और डरावना है। किरदार को मूर्त रूप देने की दीवान की क्षमता असाधारण है। वह हर सीन में एक गहराई लाते हैं। इस थ्रिलर में दीवान का अभिनय उनकी उल्लेखनीय अभिनय क्षमता को दर्शाता है। मन्नान मुंजाल का साउंडट्रैक फिल्म की बड़ी ताकत है। इसने कहानी को और भी अच्छा बना दिया है, जिससे दर्शकों की रुचि फिल्म में और भी ज्यादा बढ़ने लगती है। म्यूजिक ने फिल्म के सस्पेंस और भावनाओं को बढ़ाया है, जो दर्शकों को आकर्षित करता है। आलिया बसु गायब है बहुत ही रोमांचक और सस्पेंस से भरी हुई फिल्म है, जिसमें कलाकारों ने अपने अभिनय से जान डाल दी है। फिल्म का शांत और जटिल प्लॉट इसे और भी दिलचस्प बनाता है, जो दर्शकों को आकर्षित करता है। आलिया बसु गायब है एक ऐसी फिल्म है जो सस्पेंस और थ्रिलर के शौकीनों को जरूर पसंद आएगी। इसमें कलाकारों ने अपने अभिनय से जान डाल दी है, और म्यूजिक ने फिल्म के माहौल को और भी बढ़ा दिया है। यह फिल्म दर्शकों को आकर्षित करती है और उन्हें सोचने पर मजबूर करती है। प्रीति सिंह के निर्देशन में बनी यह फिल्म दर्शकों को प्रभावित करेगी और दिमाग में लंबे समय तक रहेगी। जिन लोगों को साइकोलॉजिकल थ्रिलर और जटिल कहानियां पसंद हैं, उन्हें यह फिल्म जरूर देखनी चाहिए। फिल्म- आलिया बसु गायब है शैली: सस्पेंस थ्रिलर निर्देशक: प्रीति सिंह निर्माता: डॉ. सत्तार दीवान, जोनू राणा, संगीत: मन्नन मुंजाल कलाकार: विनय पाठक, राइमा सेन, सलीम दीवान अवधि: 1 घंटा 43 मिनट रेटिंग: 4.5 --(आईएएनएस)

मुंबई, 9 अगस्त । विनय पाठक और राइमा सेन स्टारर साइकोलॉजिकल थ्रिलर आलिया बसु गायब है थिएटर में रिलीज हो गई है। फिल्म को प्रीति सिंह ने डायरेक्ट किया है और डॉ. सत्तार दीवान और जोनू राणा ने प्रोड्यूस किया है। कहानी न सिर्फ मनोरंजक है, बल्कि यह आपको सोचने पर भी मजबूर करती है। यह आपके दिमाग में कई सवाल उठाती है। आलिया बसु गायब है की कहानी दो पूर्व अपराधी दीपक और विक्रम के इर्द-गिर्द पर घूमती है, जो फिरौती और बदला लेने के लिए एक उद्योगपति गौतम बसु की बेटी आलिया का अपहरण करते हैं, लेकिन दीपक के छिपे हुए इरादों से उसका दोस्त विक्रम बिल्कुल अनजान है। दोनों आलिया के पिता से 5 करोड़ रुपए की फिरौती मांगते हैं। वहीं आलिया अपहरण करने वालों से खुद को छुड़ाने के लिए बहुत संघर्ष करती है। अपहरणकर्ताओं की मांग पूरी होती है या फिर आलिया उन्हें चकमा देने में कामयाब होती है, यह फिल्म देखने पर ही पता चलेगा। फिल्म की शुरुआत में आठ मिनट तक कोई आवाज नहीं है, विजुअल और इमोशनल साइन के जरिए रोमांचक माहौल बनाया गया है। यह एक अनोखा और प्रभावी तरीका है जो दर्शकों को फिल्म से जुड़ने के लिए मजबूर करता है। निर्देशक प्रीति सिंह ने जानबूझकर फिल्म की शुरुआत में कोई डायलॉग न रखने का फैसला किया। वह जानती हैं कि उनकी कहानी दर्शकों को आकर्षित करने में सक्षम है। विनय पाठक ने विक्रम का किरदार शानदार तरीके से निभाया है। वहीं राइमा सेन ने आलिया के रोल के लिए अपनी पूरी जान झोंक दी है। उन्होंने आलिया की भावनात्मक परेशानी और बचने के लिए किए गए प्रयासों को बहुत अच्छी तरह से दिखाया है। फिल्म में सलीम दीवान, दीपक के किरदार में वाकई दिलचस्प दिख रहे हैं। उन्होंने एक ऐसे आदमी का किरदार निभाया है जो अपने आपराधिक विचारों और अंदरूनी संघर्ष के बीच फंसा हुआ है। उनका परफॉर्मेंस बहुत प्रभावशाली और डरावना है। किरदार को मूर्त रूप देने की दीवान की क्षमता असाधारण है। वह हर सीन में एक गहराई लाते हैं। इस थ्रिलर में दीवान का अभिनय उनकी उल्लेखनीय अभिनय क्षमता को दर्शाता है। मन्नान मुंजाल का साउंडट्रैक फिल्म की बड़ी ताकत है। इसने कहानी को और भी अच्छा बना दिया है, जिससे दर्शकों की रुचि फिल्म में और भी ज्यादा बढ़ने लगती है। म्यूजिक ने फिल्म के सस्पेंस और भावनाओं को बढ़ाया है, जो दर्शकों को आकर्षित करता है। आलिया बसु गायब है बहुत ही रोमांचक और सस्पेंस से भरी हुई फिल्म है, जिसमें कलाकारों ने अपने अभिनय से जान डाल दी है। फिल्म का शांत और जटिल प्लॉट इसे और भी दिलचस्प बनाता है, जो दर्शकों को आकर्षित करता है। आलिया बसु गायब है एक ऐसी फिल्म है जो सस्पेंस और थ्रिलर के शौकीनों को जरूर पसंद आएगी। इसमें कलाकारों ने अपने अभिनय से जान डाल दी है, और म्यूजिक ने फिल्म के माहौल को और भी बढ़ा दिया है। यह फिल्म दर्शकों को आकर्षित करती है और उन्हें सोचने पर मजबूर करती है। प्रीति सिंह के निर्देशन में बनी यह फिल्म दर्शकों को प्रभावित करेगी और दिमाग में लंबे समय तक रहेगी। जिन लोगों को साइकोलॉजिकल थ्रिलर और जटिल कहानियां पसंद हैं, उन्हें यह फिल्म जरूर देखनी चाहिए। फिल्म- आलिया बसु गायब है शैली: सस्पेंस थ्रिलर निर्देशक: प्रीति सिंह निर्माता: डॉ. सत्तार दीवान, जोनू राणा, संगीत: मन्नन मुंजाल कलाकार: विनय पाठक, राइमा सेन, सलीम दीवान अवधि: 1 घंटा 43 मिनट रेटिंग: 4.5 --(आईएएनएस)